Mahatma Gandhi Biography In Hindi | गांधी जी पर निबंध - पूरी जानकारी 2023

Mahatma Gandhi Biography In Hindi | गांधी जी पर निबंध, नमस्कार दोस्तों स्वागत है आप सभी का एक बार फिर हमारी Website Be RoBoCo में, आज एक बार हम फिर हाजिर हैं आपके लिए एक महत्वपूर्ण जानकारी को लेकर जिसे हम Mahatma Gandhi Biography In Hindi | गांधी जी पर निबंध के नाम से जानते हैं।

दोस्तो क्या आपने भी महात्मा गांधी की जीवनी, महात्मा गांधी पर निबंध, मोहनदास करमचंद गांधी का जीवन परिचय, और महात्मा गांधी के हत्यारे का नाम आदि के बारे में Search किया है और आपको निराशा हाथ लगी है ऐसे में आप बहुत सही जगह आ गए है, आइये महात्मा गांधी के आंदोलनों के नाम की List, महात्मा गांधी का जन्म, महात्मा गांधी की पुस्तकों के नाम और महात्मा गांधी के सिद्धांत ​आदि के बारे में बुनियादी बाते जानते है।

महात्मा गांधी जी की तस्वीर भारत में चलने वाले प्रत्येक नोट में छपी होती है। उन्हे भारत के राष्ट्रपिता के तौर पर जाना जाता है। अब सोचने वाली बात यह है कि कैसे एक साधारण से बालक ने कुछ असाधारण कामों को किया जिसकी वज़ह से आज पूरी दुनिया को सम्मान की नजरों से देखती है और आज दुनिया में ना रह कर भी वह लोगों के दिलों में जिंदा है, उनके सिद्धांत जिंदा है।

अगर आप अभी तक महात्मा गांधी जी से जुड़ी हुई आश्चर्यजनक बातो के बारे में नहीं जानते हैं तो मैं बस आपसे इतना कहना चाहूंगा कि लेख के अंत तक बने रहे, हमने लेख को कुछ इस तरह से डिजाइन किया है कि आपको इस महान व्यक्तित्व से जुड़ी हुई सारी बातें की जानकारी हो जाएगी तो बिना समय गवाएं, चलिए शुरू करते हैं।

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Mahatma Gandhi Biography In Hindi | गांधी जी पर निबंध


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हालांकि इस बात में कोई भी शक नहीं है कि आजादी की लड़ाई में अनेक लोगों का योगदान है लेकिन महात्मा गांधी ने सत्य, अहिंसा और शांति जैसे सिद्धांतों को आधार मानकर अंग्रेजों को भारत को छोड़ने के लिए मजबूर कर दिया। आइए ऐसे युग पुरुष के जीवन के प्रारंभ होने से जुडी हुए बातों के बारे में जानते हैं।

Mahatma Gandhi Biography In Hindi

महात्मा गांधी का पूरा नाम मोहनदास करमचंद गांधी था। इनके पिता का नाम करमचंद गांधी था व मां का नाम पुतलीबाई था। माता और पिता दोनों ही भगवान के प्रति गहरी आस्था रखते थे जिसका प्रभाव महात्मा गांधी के ऊपर भी पड़ा। उनको नैतिक मूल्य जैसे कि सत्य बोलना, नकल न करना आदि शिक्षा अपनी मां के जरिए ही प्राप्त हुई।

नाममोहनदास करमचंद गांधी
पिता का नामकरमचंद गांधी
माता का नामपुतलीबाई
जन्म दिनांक2 अक्टूबर, 1869
जन्म स्थानगुजरात के पोरबंदर क्षेत्र में
पत्नि का नामकस्तूरबा गांधी
उपाधिराष्ट्रपिता और बापू
सिद्धांतसत्य, प्रेम और अहिंसा
मृत्यु30 जनवरी 1948
हत्यारे का नामनाथूराम गोडसे

महात्मा गांधी की शिक्षा

महात्मा गांधी की आत्मकथा के अनुसार उनका छात्र जीवन बेहद अनुशासित था और इनके छात्र जीवन का एक किस्सा काफी ज्यादा प्रसिद्ध है जोकि इनके नैतिक मूल्यों के मजबूत होने का एक उदाहरण है।

छात्र जीवन में एक कक्षा में पढ़ने के दौरान शिक्षा विभाग के एक अधिकारी ने इनकी कक्षा का निरीक्षण किया और कक्षा के सभी विद्यार्थियों को पांच अंग्रेजी की मीनिंग लिखने के लिए बोला। उसमें से एक मीनिंग इन्होंने गलत लिख ली।

इसके बारे में उनके कक्षा अध्यापक ने उनको बताया भी लेकिन उन्होंने अपनी इस मीनिंग को अपने बगल वाले की कॉपी देखकर सही करना सही नहीं समझा क्योंकि वह नकल करने को अपराध मानते थे तो यहां से पता चलता है कि उनके नैतिक मूल्य कितने ज्यादा दृढ़ थे।

महात्मा गांधी का दक्षिण अफ्रीका जाना

अपनी प्रारंभिक पढ़ाई को गुजरात के राजकोट में पूरा करने के बाद वह मैट्रिक की पढ़ाई के लिए बॉम्बे यूनिवर्सिटी चले गए और फिर वह वकालत की पढ़ाई करने के लिए इंग्लैंड चले गए।

इनको वकालत करने में 4 साल का समय लगा। इसके बाद वह वापस आए और इसी दौरान इनकी माता जी का भी देहांत हो गया लेकिन उन्होंने हिम्मत से काम लिया और अपनी वकालत का काम शुरू किया।

इसी क्षेत्र में काम करते हुए उन्हें एक Case के सिलसिले में   साउथ अफ्रीका जाने का मौका मिला। जहां पर इनके हृदय में रंगभेद को लेकर असंतोष व्याप्त हुआ फिर इन्होंने रंगभेद को खत्म करने के लिए काम किया और वहां पर कई आंदोलन किए और रंगभेद को खत्म करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया।

महात्मा गांधी का भारत आगमन

महात्मा गांधी को दक्षिण अफ्रीका में काफी समय हो चुका था वह 1893 में दक्षिण अफ्रीका गए थे और लगभग 21 वर्ष तक वहां गुजारने के बाद भारत वापस लौटे। तब उनकी उम्र 45 वर्ष थी और जब गांधी जी का भारत आगमन हुआ वह तिथि 9 जनवरी 1915 थी। इसलिए 9 जनवरी को “प्रवासी भारतीय दिवस” के रुप में मनाया जाता है।

जब महात्मा गांधी भारत आए, तब उन्होने भारतीय राजनीति की इतनी समझ नहीं थी और शुरूआत में उन्होंने अंग्रेजों पर विश्वास किया और भारतीयों को प्रथम विश्व युद्ध (जोकि 1914 से 1919 तक चला) उसमें अंग्रेजो की तरफ से भाग लेने के लिए बोला इसलिए शुरुआत में महात्मा गांधी को “भर्ती वाला सर्जेंट” समझा जाने लगा।

युद्ध समाप्ति के बाद अंग्रेजों ने अपने वादों को पूरा नहीं किया तब गांधी जी को समझ में आया कि इस तरह से भारत को आजादी मिलने वाली नहीं है और फिर उन्होंने कई प्रकार के आंदोलन को शुरू किया।

महात्मा गांधी के आंदोलनों के नाम की List

महात्मा गांधी ने भारत की आजादी के लिए अनेकों छोटे बड़े आंदोलनो में भाग लिया। इन्होंने अपना राजनीतिक गुरु गोपाल कृष्ण गोखले को बना लिया और भारतीय राजनीति में प्रवेश किया।

सन 1917 – “चंपारन सत्याग्रह”

गांधी जी ने यह आंदोलन भारतीय किसानों को नील की पैदावार करने के लिए विवश करना और उन्हें उनकी कम कीमत देने के विरोध में किया। जिसमे उनको सफलता हासिल मिली।

सन 1918 – “खेड़ा सत्याग्रह”

खेड़ा गांव जोकि गुजरात प्रान्त में है वहां के किसान बाढ़ आ जानें की वजह से टैक्स नही भर पाये। तब गांधी जी ने किसानों को टैक्स में छूट दिलाने के लिए “खेड़ा सत्याग्रह” किया और सफलता हासिल की।

सन 1919 में – खिलाफत आंदोलन

गांधीजी यह बात जान गए कि भारत की आजादी के लिए हिंदू मुस्लिम एकता बहुत ज्यादा जरूरी है। इसके लिए वह है खिलाफत आंदोलन में शामिल हो गए। खिलाफत आंदोलन एक वैश्विक स्तर पर चलाया जानें वाला आंदोलन था। गांधी ज हमेशा हिंदू मुस्लिम एकता के पक्षधर थे और उन्होंने हमेशा इसके लिए सराहनीय प्रयास किए।

1920 में बाल गंगाधर तिलक की मृत्यु के बाद महात्मा गांधी जी के कांग्रेस के प्रमुख बने और उनके द्वारा किए गए आंदोलन बहुत ज्यादा प्रभावकारी सिद्ध हुए।

Note:- गांधी जी ने 1919 तक जितने भी आंदोलन किए उनमें से किसी भी आंदोलन को उनके द्वारा प्रारंभ नहीं किया गया था मात्र इन सभी आंदोलन में लोगो के द्वारा बुलाए जानें पर उन्होन   मात्र इसमें भाग लिया था लेकिन 1920 में गांधी जी के द्वारा शुरू किया गया पहला आंदोलन असहयोग आंदोलन था।

सन 1920 – असहयोग आंदोलन

सन 1930 – सविनय अवज्ञा आंदोलन

सन 1942 – भारत छोड़ो आंदोलन

महात्मा गांधी का वैवाहिक परिचय

महात्मा गांधी की पत्नी का नाम कस्तूरबा गांधी था। इनके 4 पुत्र थे।

  • हरिलाल
  • मणिलाल
  • रामदास
  • देवदास

कस्तूरबा गांधी की मृत्यु 1944 में पूना में हो गई।

महात्मा गांधी के सिद्धांत

  • सादा जीवन उच्च विचार
  • सत्य
  • प्रेम
  • अहिंसा
  • सत्याग्रह

महात्मा गांधी की पुस्तकें

  • हिन्द स्वराज (1909)
  • दक्षिण अफ्रीका में सत्याग्रह – सन 1924 में
  • मेरे सपनों का भारत
  • ग्राम स्वराज
  • सत्य के साथ मेरे प्रयोग’ एक आत्मकथा
  • सत्य से संयोग

महात्मा गाँधी की मृत्यु

महात्मा गांधी की मृत्यु 30 जनवरी 1948 को गोली लगने की वजह से हुई थी। नाथूराम गोडसे नाम के व्यक्ति ने उनको तीन गोली मारी थी जिसके बाद उनके अंतिम शब्द “हे राम” ही निकल पाया।

महात्मा गांधी की शव यात्रा के अत्यंत भव्य थी और वह 8 किलोमीटर लंबी थी। इसके बाद नाथू राम गोडसे को गिरफ्तार कर लिया गया और उनको अदालत में पेश किया गया। जहां पर उनको फांसी की सजा मुकर्रर की गई और 15 नवंबर 1949 को नाथूराम गोडसे को फांसी दे दी गई।

महात्मा गांधी FAQs

महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता क्यों कहते है?

महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता सबसे पहली बार सुभाष चंद्र बोस ने कह कर संबोधित किया। इस प्रकार से राष्ट्रपिता भारत सरकार की तरफ दी गई कोई उपाधि नहीं है बल्कि सुभाष चंद्र बोस जी के द्वारा दिया गया एक सम्मान है।

महात्मा गांधी ने छुआछूत को कैसे खत्म किया?

महात्मा गांधी ने पिछड़ी जातियों के बीच फैली हुई छुआछूत को खत्म करने के लिए अनेकों प्रयास किए। उन्होंने पिछड़े जाति के लोगों को “हरिजन” (ईश्वर के लोग) नाम दिया।

गांधीजी के द्वारा स्थापित प्रमुख आश्रम कौन से है?

  • टॉलस्टॉय आश्रम
  • साबरमती आश्रम

महात्मा गांधी का समाधि स्थल कहां है?

महात्मा गांधी का समाधि स्थल राजघाट, दिल्ली में है।

महात्मा गांधी के अध्यात्मिक गुरु कौन थे?

श्रीमद राजचंद्र जी

महात्मा गांधी के राजनैतिक गुरु कौन थे?

गोपाल कृष्ण गोखले

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आपने क्या सीखा

उपरोक्त लेख Mahatma Gandhi Biography In Hindi | गांधी जी पर निबंध, के माध्यम से मैंने आपको महात्मा गांधी की जीवनी, महात्मा गांधी पर निबंध, मोहनदास करमचंद गांधी का जीवन परिचय, और महात्मा गांधी के हत्यारे का नाम, महात्मा गांधीके आंदोलनों के नाम की List, महात्मा गांधी का जन्म, महात्मा गांधी की पुस्तकों के नाम और महात्मा गांधी के सिद्धांत आदि के बारे में बताया है।

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Gaurav Sahu
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